हाल ही में है AI जनरेटेड वीडियो को लेकर एक बड़ी शोध की गई जिसमें यह पता चला है कि एआई के द्वारा जनरेट किए गए वीडियो उपयोग करना नुकसानदायक साबित हो सकता है
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AI Generated Video के उपयोग का प्रचलन काफी ज्यादा तेजी से बढ़ता जा रहा है ज्यादातर यूट्यूबर ऐसे हैं कि वीडियो बनाने की कला से पूरी तरह परिचित नहीं है जिसकी वजह से वह AI प्लेटफार्म का उपयोग कर रहे हैं
AI के द्वारा जनरेट की गई वीडियो काफी ज्यादा प्रोफेशनल होती है जिसकी वजह से युटुब क्रिएटर इसका उपयोग करना काफी ज्यादा पसंद करते हैं और यह कुछ मिनटों में ही तैयार हो जाती है
लेकिन हाल ही में AI पर कई सारे शोध किए गए हैं जिसमें यह बात सामने आई है कि यदि आकर के प्लेटफार्म का उपयोग करके वीडियो बनाते हैं तो यह आपकी प्राइवेसी के लिए नुकसानदायक साबित हो सकता है
सामान्य तौर पर AI Generated Video बनाने के लिए यूजर को अपना अकाउंट क्रिएट करने की आवश्यकता होती है अकाउंट को क्रिएट करने के लिए ईमेल आईडी का उपयोग किया जाता है जिससे ईमेल आईडी का एक्सेस इस प्लेटफार्म पर मिल जाता है
साथ ही साथ जो भी वीडियो AI के द्वारा तैयार की जाती है एक प्रकार की प्रोग्रामिंग होती है जो कि कई सारी भाषाओं में प्रोग्राम की गई होती है वीडियो के अंदर वायरस होने की संभावना अधिक होती है और यदि आप इन वीडियो को अपने डिवाइस में डाउनलोड करते हैं तो वीडियो के जरिए यह वायरस आपके पर्सनल जानकारी को चुरा सकते हैं
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शोध में यह बात सामने आई है कि AI-जनरेटेड वीडियो के अंदर Vidar, RedLine और Raccoon जैसे हानिकारक मालवेयर होते हैं जो कि वीडियो के साथ आपके कंप्यूटर या मोबाइल डिवाइस में घुस सकते हैं
यदि एक बार इस प्रकार के वायरस आपके डिवाइस के अंदर प्रवेश कर जाते हैं तो यह डिवाइस के अंदर छेड़छाड़ कर सकते हैं और संवेदनशील फाइलों के अंदर फेरबदल कर सकते हैं इस प्रकार से वे आपके डिवाइस में सेट किए हुए किसी भी पर्सनल डॉक्यूमेंट जैसे क्रेडिट कार्ड पासवर्ड इत्यादि की जानकारी प्राप्त कर सकते हैं
एआई जनरेटेड वीडियो बनाने के लिए कई सारे ऐसे प्लेटफॉर्म है जो की पैड सर्विस प्रदान करते हैं जिसके बाद सॉफ्टवेयर डाउनलोड करने का विकल्प भी दिया जाता है जिसके द्वारा आसानी से वीडियो बनाई जा सकती है
इस प्रकार के सॉफ्टवेयर के कई सारे क्रैक वर्जन उपलब्ध होता है क्रैक वर्जन को डाउनलोड करने के लिए कहा जाता है जिसके लिए यूजर को किसी भी प्रकार का शुल्क नहीं देना पड़ता है लेकिन यदि कोई भी उपयोगकर्ता AI Video Generated बनाने के लिए ऐसे सॉफ्टवेयर को डाउनलोड करना है इनके अंदर मालवेयर की संभावना अधिक होती है
क्रैक वर्जन या मोड एपीके का विकल्प भी उपलब्ध होता है यूजर फ्री में इन प्लेटफार्म का उपयोग करने के लिए यदि इस प्रकार के सॉफ्टवेयर एप्लीकेशन को उपयोग करते हैं तो और भी ज्यादा हानिकारक सिद्ध होते हैं कभी भी इस प्रकार के एप्लीकेशन या सॉफ्टवेयर का उपयोग करने से बचने की सलाह दी जाती है
मौजूदा समय में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस काफी ज्यादा तेजी से बढ़ गया है इसी का फायदा उठाकर हैकर्स यूजर को निशाना बना रहे हैं
शोध में किया गया दवा AI Generated video होता है खतरनाक
आईटी सिक्योरिटी फर्म के द्वारा यह बात सामने आई होगी एआई के द्वारा बनाए गए वीडियो का उपयोग करके लोगों को अपने निशाने पर ले रहे हैं, फर्म का दावा है कि “AI generated video के द्वारा होकर लोगों को लूट रहे हैं और यह दर हर महीने 200 से 300 प्रतिशत तक बढ़ती जा रही है”
Cloudsek के द्वारा भी एक रिपोर्ट जारी की गई है जिसमें यह बताया गया है कि हैकर एआई जनरेटेड वीडियो को यूट्यूब पर अपलोड करते हैं और मुफ्त में सॉफ्टवेयर डाउनलोड करने के लिए लिंक भी प्रदान करते हैं वास्तव में सॉफ्टवेयर के अंदर हानिकारक मालवेयर शामिल होते हैं
कैसे बचें
यदि आप एक युटुब क्रिएटर है और वीडियो बनाने के लिए फोटोशॉप, प्रीमियर प्रो, पावरडायरेक्टर या फिर मोबाइल में वीडियो बनाने के लिए कॉइन मास्टर जैसे ऐप का उपयोग करते हैं तो आपको यूट्यूब पर अपलोड किए गए किसी भी ट्यूटोरियल को देखकर उनके द्वारा प्रदान किए गए लिंक को करके किसी ऐसे क्रैक वर्जन, मोड एपीके, प्रो वर्जन इत्यादि को अपने कंप्यूटर या स्मार्टफोन में उपयोग करने से बचना चाहिए